
शरद भीष्म पितामाह, लेकिन शय्या पर नहीं…!
कौन बनेगा शरद पवार का उत्तराधिकारी ?
सुप्रिया सुले मानी जा रहीं सबसे उपयुक्त उत्तराधिकारी
अजित पवार, प्रफुल्ल पटेल, छगन भुजबल भी दावेदारी में
दिल्ली। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष पद से शरद पवार के इस्तीफे ने जैसे महाराष्ट्र की राजनीति भूकंप पैदा कर दिया है। पहले तो कोई मानने को ही तैयार नहीं है कि @NCPspeaks प्रमुख शरद पवार राजनीति छोड़ सकते हैं। क्योंकि शरद पवार के हर कदम के पीछे कई सारे राज छिपे होते हैं वो कब किसकी बाजी पलट दें कोई नहीं जानता? शायद यही कारण है कि आज भी उनके समर्थक और चाहने वालों को ऐसा लगता है कि जब प्रधानमंत्री @narendramodi जैसे नेता जो सन्यासी जैसा जीवन जी रहे हैं जब वो राजनीति में दिलचस्पी दिखा सकते हैं तो @PawarSpeaks जैसे पूर्णकालिक राजनेता राजनीति से अलग नहीं हो सकते। शरद के इस फैसले से पार्टी और समर्थकों की भावनाएं आहत हुई हैं। आखिर कोई कैसे अपने 60 साल के राजनीतिक करियर को यूं एकदम से खत्म कर सकता है?
तो फिर कौन होगा NCP में शरद का उत्तराधिकारी?
शरद पवार के इस्तीफे के बाद से ही पार्टी में उनकी विरासत किसे मिलेगी इसको लेकर चर्चाओं का बाजार गर्म है। फिलहाल जो समीकरण नजर आ रहे हैं उसके अनुसार तो उनकी बेटी सुप्रिया सुले और भतीजे अजित पवार में से कोई एक उनका उत्तराधिकारी बन सकता है, और इन दोनों में से भी सुप्रिया सुले को NCP में शरद के #उत्तराधिकारी के प्रबल दावेदार के रूप में देखा जा रहा है। चूंकि शरद की पार्टी के एजेंडे को #संसद में सुप्रिया ही मजबूती से रखती आई हैं और उनकी स्थिति दिल्ली में काफी मजबूत मानी जाती है। ऐसे में उन्हें अगर विरासत में पार्टी की जिम्मेदारी मिलती है तो बेशक वे पिता की भांति अपनी पार्टी को फिर से बुलंदी पर ला सकती हैं। वहीं अजित पवार के लिए कहा जा रहा है कि उन्हें एक बार केवल @महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बैठना है इसलिए शायद वो शरद पवार के बाद पार्टी अध्यक्ष नहीं बनना चाहेंगे। इधर विश्लेषकों का भी यही मानना है कि शरद की जगह उनकी बेटी सुप्रिया ही उनकी विरासत को आगे बढ़ा सकती हैं।

शरद ही करेंगे अंतिम फैसला…!
पार्टी के नए अध्यक्ष को लेकर रस्साकसी शुरू हो चुकी हैं। हालांकि पार्टी के नए अध्यक्ष के चुनाव के लिए शरद पहले ही एक समिति का गठन कर चुके हैं जिसमें सुप्रिया सुले का नाम नहीं है ऐसे में ये भी कयास लगाए जा रहे हैं कि भले ही शरद ने समिति का गठन कर दिया हो लेकिन नया @अध्यक्ष उन्हीं की सहमति से बनेगा। इधर सुप्रिया सुले पार्टी में अजित पवार से मजबूत स्थिति में हैं ऐसे में सुप्रिया को पार्टी अध्यक्ष बनाने में शरद अहम रोल निभा सकते हैं।
शरद का पहले से ही लक्ष्य तय
राजनीति के जानकारों की मानें तो एनसीपी की आंतरिक स्थिति को देखने से ही पता चल जाता है कि शरद पवार ने पहले ही अपनी विरासत का भविष्य तय कर रखा है। अजित पवार के महाराष्ट्र की @राजनीति में ही फंसे होने के चलते वे पार्टी में नेशनल पद पर नहीं जाना चाहते। विश्लेषकों की मानें तो शरद ने अजित को महाराष्ट्र की राजनीति से बाहर निकलने भी नहीं दिया वहीं अब खुद अजित भी महाराष्ट्र की राजनीति में ही खुश रहना चाहते हैं तो इधर NCP प्रमुख शरद पवार की बेटी पहले ही दिल्ली में रहकर अपनी नेशनल छवि बना चुकी हैं।
अजित का बड़बोलापन भी बनेगा रोड़ा
NCP में अध्यक्ष पद के लिए जब कई सारे कयास लगाए जा रहे हैं ऐसे में अंदरखाने ये चर्चा है कि @AjitPawarSpeaks का आचार-व्यवहार ऐसा नहीं कि उन्हें पार्टी की पूरी जिम्मेदारी सौंप दी जाए। अति उत्साहित, जल्दबाजी में फैसले लेना और बिना सोचे समझे बयानबाजी के चलते शरद या पार्टी का कोई भी वरिष्ठ नेता अजित को पार्टी प्रमुख के पद पर नहीं देखना चाहता। वहीं खुद अजित पवार महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री पद पर काबिज होना चाहते हैं और कई वे खुद भी दिल्ली से खुद को दूर रखने की बात कर चुके हैं।
सुप्रिया के नाम पर सबकी सहमति
सुप्रिया सुले दिल्ली में बैठकर NCP को नेशनल लेवल पर आगे ले जा रही हैं, ऐसे में राजनीतिक विरासत किसे मिलनी चाहिए ये स्पष्ट है। वहीं @supriya_sule में चुनाव जीतने की कुव्वत है वे पार्टी में भी सबको साथ लेकर चलती हैं और उन्होंने राजनीति में अपनी खुद की स्वतंत्र और निष्पक्ष छवि बनाई है। हालांकि वे अजित पवार से काफी कम अनुभव रखती हैं फिर भी वे मिलनसार स्वभाव की हैं, मुद्दों को समझकर कर मीडिया में पार्टी की बात रखती हैं ऐसे में वे पार्टी के लिए एक बेहतर च्वॉइस साबित होंगी। पार्टी में ये कयास भी लगाए जा रहे हैं कि पार्टी में राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के साथ-साथ सुप्रिया को संसदीय दल का अध्यक्ष भी बनाया जा सकता है।
इधर परिवार से हटकर दो नामों की भी चर्चा
छगन भुजबल और @NCP में उपाध्यक्ष के पद पर काबिज प्रफुल्ल पटेल का नाम भी शरद के उत्तराधिकारी के तौर पर लिया जा रहा है। यानि अगर अजित पवार या सुप्रिया सुले में से किसी को ये जिम्मेदारी नहीं मिलती तो ऐसे में प्रफुल्ल पटेल या छगन भुजबल में से किसी को ये राष्ट्रीय अध्यक्ष का ताज पहनाया जा सकता है। शरद के बेहद करीबी @praful_patel हैं लेकिन @ChhaganCBhujbal पार्टी के संस्थापक सदस्यों में शामिल हैं वे पार्टी के महाराष्ट्र में पहले अध्यक्ष और महाराष्ट्र में ही उप मुख्यमंत्री और कई महत्वपूर्ण मंत्रालयों की जिम्मेदारी संभाल चुके हैं।
कौन क्या कहता है?

शरद पवार के इस्तीफे की घोषणा के बाद प्रफुल्ल पटेल ये बयान दे चुके हैं कि “मैं किसी भी तरह से अध्यक्ष पद का दावेदार नहीं हूं और न ही जिम्मेदारी लेने के लिए तैयार हूं”

इधर छगन भुजबल भी कह चुके हैं कि पार्टी के अध्यक्ष पद के लिए सुप्रिया सुले सबसे उत्तम दावेदार हैं उन्हें मुद्दों की समझ है और नए अध्यक्ष के रूप में सभी को स्वीकार्य होंगी।
बहरहाल अजित पवार अपने व्यवहार, प्रफुल्ल पटेल @दाउद इब्राहिम से संबंधों और छगन भुजबल पर सदन में घोटाले और मनी लॉड्रिंग के चलते इनकी #NCP राष्ट्रीय अध्यक्ष पद की दावेदारी थोड़ी ढीली पड़ती नजर आ रही है ऐसे में NCP में राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए अब केवल सुप्रिया सुले का नाम ही सबसे सूटेबल माना जा रहा है।
