
कांग्रेस आलाकमान ने उड़ा रखी है सत्तानशीनों की नीदें !, पंजाब में कैप्टन अमरिंदर के घटनाक्रम के बाद क्षत्रपों में बेचेनी
विजय श्रीवास्तव
कांग्रेस आलाकमान ने उड़ा रखी है सत्तानशीनों की नीदें !
पंजाब में कैप्टन अमरिंदर के घटनाक्रम के बाद क्षत्रपों में बेचेनी

साढ़े नौ साल तक मुख्यमंत्री रहने के बाद अमरिंदर के अंजाम से बेचेनी
अपने-परायों की पहचान के लिए हरियाणा में भूपेंद्र सिंह हुड्डा हुए सक्रिय
हुड्डा ने अपने आवास पर बुलाई विधायकों की मीटिंग
गाहे-बगाहे आलाकमान के सामने हुड्डा करते रहते शक्ति प्रदर्शन
इसी के चलते बुधवार को चंडीगढ़ में अपने आवास पर हुड्डा ने बुलाई मीटिंग
कुल 31में से 25 विधायकों की मौजूदगी से मिली कुछ राहत
लेकिन छह विधायकों की गैर मौजूदगी खल रही हुड्डा को
हालांकि तीन विधायक नहीं लंबे समय से उनके पक्ष में
फिर भी पंजाब से हरियाणा का नहीं किया जा सकता मुकाबला
क्योंकि अमरिंदर सिंह और भूपेंद्र हुड्डा में है एक बड़ा फर्क
पंजाब की तरह हरियाणा में नहीं हुड्डा के मुकाबले का कोई दूसरा नेता
इसलिए हुड्डा के लिए नहीं ज्यादा कोई डर की बात
गौरतलब है कि कुमारी शैलजा और रणदीप सुरजेवाला भी रखते हरियाणा में प्रभाव
और आलाकमान की आंख के तारे भी माने हैं दोनों नेता
लेकिन पंजाब के बाद अब हरियाणा में दलित नेता को बड़े पद का नहीं कोई औचित्य
इसलिए कुमारी शैलजा और सुरजेवाला अपने आप ही हुए साइडलाइन
चूंकि सुरजेवाला दो बार विधायकी का भी चुनाव नहीं जीत पाए अपने क्षेत्र से
तो सुरजेवाला भी नहीं हो सकते हरियाणा में हुड्डा की कुर्सी के लिए खतरा
ऐसे में आलाकमान के पास बचता है केवल हुड्डा का ही ऑप्शन
हालांकि अगर आलाकमान ठान ले तो फिर कुछ भी हो सकता है कांग्रेस में
क्योंकि 50विधायकों के शक्तिप्रदर्शन के बाद भी अमरिंदर कर दिए गए साइडलाइन
राजनीतिक विश्लेषकों की मानें तो राजस्थान में भी उड़ी हैं कांग्रेसियों की नीदें
किसी की आने वाले गम तो किसी को संभावित खुशखबरियों का है इंतजार
