मेट्रो घाटे का सौदा, फिर भी दौड़ाने की मजबूरी!

मेट्रो घाटे का सौदा, फिर भी दौड़ाने की मजबूरी!

मेट्रो घाटे का सौदा, फिर भी दौड़ाने की मजबूरी!

बड़ी चौपड़ से मानसरोवर 26 मिनट में

मेट्रो का अब तक कुल संचालन घाटा करीब 110 करोड़ रुपए!

मेट्रो के प्रथम फेज पर अब तक कुल लागत 3149 करोड़

जयपुर। बुधवार को जयपुर मेट्रो प्रथम चरण के फेज 1b का होगा आगाज़, मुख्यमंत्री दिखायेंगे बड़ी चौपड़ से मेट्रो को हरी झंडी। मंत्री शांति धारीवाल सहित कई प्रशासनिक अधिकारी भी इस मौके पर मौजूद रहेंगे।

बड़ी चौपड़ से मानसरोवर 26 मिनट में:

इसमें कोई दो राय नहीं है कि मेट्रो का या फिर लोगों के लिए और किफायती होगा क्योंकि इस पेज के चलते मानसरोवर से बड़ी चौपड़ तक का 11 पॉइंट 3 किलोमीटर का सफर मात्र 26 मिनट में पूरा हो सकेगा जिस का किराया मात्र ₹22 रखा गया है इससे लोग समय की बचत के साथ-साथ सुगमता और आसान सफर का लुफ्त उठा पाएंगे।

5साल में घाटा ही घाटा!

वैसे तो जयपुर मेट्रो का प्रथम चरण 3जून 2015 में विधिवत रूप से शुरू हुआ था। पहले वर्ष के पहले महीने 49000 यात्रियों के साथ जयपुर मेट्रो का सफर शुरू हुआ। लेकिन धीरे धीरे हर माह यात्री भार में गिरावट के चलते वर्ष के अंत में मेट्रो को 20 करोड़ का घाटा लगा। क्योंकि लागत 30 करोड़ और कमाई सिर्फ 10 करोड़ हुई ऐसे में घाटे का सौदा बनी मेट्रो आज तक इस घाटे से उबर नहीं पाई है बल्कि महीने दर महीने यह घाटा बढ़ता ही गया है आज 5 साल बाद जयपुर मेट्रो की स्थिति इतनी खराब है कि खर्च के नाम पर पूरा पैसा लुट रहा है और कमाई के नाम पर सिर्फ कुछ करोड रुपए ही जयपुर मेट्रो के हाथ लगे हैं।

मेट्रो का अब तक कुल संचालन घाटा करीब 110 करोड़ रुपए!

जयपुर वासियों को सुविधा के नाम पर सब्जबाग दिखाने वाले जयपुर मेट्रो के अधिकारी बुधवार को अब किसी लास्ट पंक्ति में खड़े होकर तमाशा देख रहे होंगे। 2015 में शुरू हुई मेट्रो कि मार्च 2016 तक लागत आई करीब 30 करोड़ और कमाई मात्र 10 करोड़, वर्ष 2016 मार्च से दिसंबर 2016 तक मेट्रो संचालन पर लागत आई 29 करोड़ लेकिन कमाई सिर्फ 5 करोड़। ऐसे में आप खुद ही अंदाजा लगा सकते हैं मेट्रो कितने फायदे का सौदा रही आपके लिए? 3 जून 2015 से 30 अप्रैल 2018 तक मेट्रो की कुल कमाई 25.13 करोड रुपए थी जबकि हर साल संचालन लागत करीब 25 से 30 करोड़ के बीच रही। सूत्रों के अनुसार फरवरी 2020 तक मेट्रो करीब 40 करोड़ ही कमाई कर पाई लेकिन संचालन का आंकड़ा पहुंच गया 150 करोड़ पर। लोगों के खून पसीने की कमाई के टैक्स के पैसे से चल रही मेट्रो 5 साल में फायदा तो दूर की बात है अपना खर्च तक पूरा नहीं निकाल पाई और फिलहाल करीब 110 करोड़ के घाटे से जूझ रही है हमारी जयपुर मेट्रो।

घाटा कम होगा या बढ़ेगा मेट्रो के फेज 1 बी से:

करीब 110 करोड़ के संचालन घाटे का ठीकरा लिए अफसर अब 23 तारीख को किस मुंह से जनता के सामने ढिंढोरा पीट देंगे मेट्रो के नए फेज का? क्या 23सितम्बर को सीएम अधिकारियों से पूछेंगे मेट्रो के फायदे में रहने के उपाय? क्या लोगों के मेट्रो को घाटे से उबारने के सवालों1 जवाब दे पाएंगे अधिकारी?
बहरहाल बुधवार 23 सितंबर जयपुर के लिए एक और यादगार दिन होगा क्योंकि बुधवार से मेट्रो का 1b फेज बड़ी चौपड़ से चांदपोल तक का सफर भी शुरू हो जाएगा।

मेट्रो के प्रथम फेज पर अब तक कुल लागत 3149 करोड़:

जयपुर मेट्रो का प्रथम चरण 9.63 किलोमीटर का था, जिस पर 2023 करोड़ की लागत आई थी। वहीं अब प्रथम चरण का फेज वन बी मात्र 1.7 किलोमीटर लंबा है लेकिन इस पर करीब 1126 करोड़ की लागत आई है। यानी प्रथम फेस वन और वन बी में कुल मिलाकर 3149 करोड रुपए की लागत आ चुकी है। वहीं जयपुर मेट्रो अब तक इस लागत के मुकाबले केवल करीब ₹40 करोड़ ही कमा पाई है। यानी 5 साल में 2023 करोड़ लागत के मुकाबले सिर्फ 40 करोड़ ही जुटा पाई है। वैसे जयपुर मेट्रो को और सरकार के अफसरों को मेट्रो की स्पीड से बड़ी उम्मीदें हैं।

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